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Monday, 9 March 2020

हिंसा के दौरान संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वाले 350 उपद्रवियों को 3.5 करोड़ चुकाना होगा;

हिंसा के दौरान संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वाले 350 उपद्रवियों को 3.5 करोड़ चुकाना होगा; 

भरपाई के लिए प्रक्रिया तेज

 इलाहाबाद हाईकोर्ट ने लखनऊ में हिंसा के आरोपियों की होर्डिंग भले ही हटाने के निर्देश दिए हों, लेकिन योगी सरकार नुकसान की भरपाई से पीछे हटने को तैयार नहीं है।

19 व 20 दिसंबर 2019 को उत्तर प्रदेश के 22 जिलों में नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध प्रदर्शन के दौरान हुई हिंसा में सार्वजनिक व निजी संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया गया था। तब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था- नुकसान की भरपाई दंगाइयों से करेंगे। जिस पर अमल करते हुए हिंसा प्रभावित जिलों में 350 उप्रदवियों को 3.5 करोड़ की वसूली का नोटिस जारी किया है।



शासन से मिली जानकारी के मुताबिक, अब तक संभल में 26, रामपुर में 28, गोरखपुर में 33, बिजनौर में 43, मेरठ में 141 और लखनऊ में 57 लोगों को नोटिस जारी किए गए हैं। पुलिस महानिदेशक हितेश चन्द्र अवस्थी का कहना हैं कि, सीएए हिंसा के मामले जो भी कार्रवाई की जा रही है, वह विधिक प्रक्रिया के तहत है।

रामपुर:

प्रशासन ने यहां 25 लाख रुपए की संपत्ति के नुकसान का आंकलन किया है। 24 दिसंबर को 28 लोगों को रिकवरी नोटिस भेजा है। जिलाधिकारी आंजनेय कुमार सिंह ने बताया कि प्रदर्शन के दौरान हिंसा करने वाले 28 लोगों जवाब के लिए सात दिन का समय दिया गया था। अब सभी से वसूली की जाएगी।

यहां हिंसा के दौरान 22 साल के एक व्यक्ति की गोली लगने से मौत हो गयी थी। पुलिस की एक मोटरसाइकिल सहित छह वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया था। पुलिस के मुताबिक रामपुर में हिंसा के सिलसिले में अब तक 33 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और 150 से अधिक लोगों को चिन्हित किया गया है।

गोरखपुर:

हिंसक प्रदर्शन में शामिल 33 लोगों को पुलिस ने नोटिस भेजा है। उनके खिलाफ नामजद प्राथमिकी दर्ज की गयी है, जबकि 1000 अज्ञात लोगों के खिलाफ भी एफआईआर है। अब तक 26 लोगों को जेल भेजा जा चुका है। पुलिस की ओर से जारी फोटो के आधार पर अन्य कई लोगों को पकड़ा गया है। घर से भागे या फरार लोगों को नोटिस भेजा जा रहा है।

कानपुर: 

20 और 21 दिसंबर 2019 को भड़की हिंसा में सार्वजनिक संपत्ति के नुकसान की रिकवरी के लिए कानपुर प्रशासन ने 16 लोगों को नोटिस जारी किए हैं। इनसे 10 लाख रूपए की वसूली की जाएगी। और तीन लोगों को जल्द नोटिस दिए जाएंगे। जांच के लिए विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया गया है।

रेंज के पुलिस महानिरीक्षक मोहित अग्रवाल ने बताया कि एसआईटी का नेतृत्व अपर पुलिस अधीक्षक (अपराध) और इसमें पांच पुलिस अधिकारी शामिल हैं। यहां दो लोगों की मौत हो गयी थी।

बिजनौर: 

20 दिसंबर को हुई हिंसा के बाद जिला प्रशासन ने 43 लोगों को वसूली नोटिस भेजा है। इस सिलसिले में 146 गिरफ्तारियां की गई हैं। संपत्ति के नुकसान के दावों की सुनवाई के लिए एडीएम वित्त व राजस्व के नेतृत्व में टीम गठित की गयी है। यहां नहटौर में हुई दो मौतों की मजिस्ट्रेट से जांच के आदेश दिए गए हैं।

एसपी का कहना है कि, हिंसा के दौरान 146 पुलिसकर्मी घायल हुए थे। अब तक जिले में 146 गिरफ्तारी हुई है। लोगों को उकसाने के मामले में बिजनौर के पूर्व पालिका अध्यक्ष जावेद आफताब, मौलवी फुरकान और छुइयां पर 25-25 हजार रूपए का इनाम रखा गया है। तीनों फरार चल रहे हैं।

लखनऊ में पोस्टर लगे तो मचा बवाल:

नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) लागू होने के बाद 19 दिसंबर को लखनऊ में हुए प्रदर्शन में सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वाले 57 लोगों की तस्वीरें,उनके नाम-पते के साथ प्रशासन ने सार्वजनिक कर दिया गया। लेकिन हाईकोर्ट ने इस मसले का स्वत: संज्ञान लेकर होर्डिंग को हटाने का निर्देश दिया है।

बीते गुरुवार रात यह होर्डिंग उन इलाकों में लगवाए गए, जहां इन्होंने तोड़फोड़ की थी। डीएम अभिषेक प्रकाश ने कहा- अगर तय वक्त पर इन लोगों ने जुर्माना नहीं चुकाया तो कुर्की की जाएगी। प्रशासन नेहसनगंज, हजरतगंज, केसरबाग और ठाकुरगंज इलाके में 57 लोगों से 88,62,537 रुपए वसूले जाने की बात भी कही है।

हिंसा के दौरान संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वाले 350 उपद्रवियों को 3.5 करोड़ चुकाना होगा;
बीते 19 व 20 दिसंबर को लखनऊ में सीएए के विरोध में हुई थी हिंसा। -फाइल


source https://www.bhaskar.com

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